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देखा पानी लगी प्यास... ऐसा ही है मेरा ब्लॉग की दुनिया में आना। देखा-देखी। दूर-दूर तक कोई इरादा नहीं था, पर अब जब सभी लोग कर रहे हैं तो सोचा हाथ आज़माया जाए। पर इतना तय है कि अब आ गया हूं तो कुछ अच्छा करके ही जाऊंगा।
प्रभावी,
ReplyDeleteशुभकामना,
जारी रहें !!
आर्यावर्त (समृद्ध भारत की आवाज)
बहुत बढ़िया बोल से सजी प्रस्तुति
ReplyDeleteसही.....
ReplyDeleteअनु
बहुत सही - सार्थक प्रस्तुति . हार्दिक आभार हम हिंदी चिट्ठाकार हैं
ReplyDeleteलिखते रहें :-)
ReplyDeleteवाह!
ReplyDeletejiyo...
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